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Indraganj Lashkar

ऑनलाइन सेमिनार का आयोजन-“उदारता को बनाएं अपना आदर्श” – बी.के. डॉ. गुरचरण(18.02.2022)

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“उदारता को बनाएं अपना आदर्श” – बी.के. डॉ. गुरचरण

 

ऑनलाइन सेमिनार का आयोजन

ग्वालियर: प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय की भगिनी संस्थान राजयोगा एजुकेशन एंड रिसर्च फाउंडेशन के समाज सेवा प्रभाग के द्वारा आज “नेशनल रेंडम एक्ट्स आफ काइंडनेस डे” के अंतर्गत एक ऑनलाइन सेमिनार का आयोजन किया गया, जिसमें शहर के कई गणमान्य समाजसेवी भाई बहनों ने शिरकत की । आजादी के अमृत महोत्सव से स्वर्णिम भारत की ओर अभियान के अंतर्गत प्रजापिता ब्रह्माकुमारीज के द्वारा कई ऑनलाइन एवं ऑफलाइन प्रोग्राम आयोजित किए जा रहे हैं । इसी तारतम्य में आज एक विशेष कार्यक्रम समाज सेवा प्रभाग के द्वारा आयोजित किया गया जिस को संबोधित करते हुए बी के डॉ गुरचरन ने कहा कि हमें अपने अंदर सेवा का एक नेचुरल संस्कार बनाना पड़ेगा जिसके आधार पर हम अव्यवस्थित रूप से यत्र तत्र सर्वत्र सेवा के मौके ढूंढ कर अनेक आत्माओं की सेवा कर उनकी दुआएं प्राप्त कर सकेंगे । आपने कहा कि कई बार हम व्यवस्थित ढंग से सेवा का कार्य करते हैं जो कि पूर्व नियोजित ढंग के रूप में होता है । लेकिन कई बार अव्यवस्थित रूप से किसी का सहयोग करने में जो खुशी प्राप्त होती है, जो दुआएं प्राप्त होती हैं उसका हम अंदाजा नहीं लगा सकते । अव्यवस्थित रूप से सेवा कार्य निम्न रूप से कार्य किए जा सकते हैं-
1- जैसे कि हम किसी से भी मुस्कुरा कर बात करें
2- किसी भी अजनबी को अच्छा रिमार्क दें
3- किसी भूखे को खाने के लिए पैसे दे सकें
4- किसी दुकान या कारोबारी के लिए अच्छा रिव्यु सोशल मीडिया पर पोस्ट करें
5- किसी को सड़क पार करने में मदद करें
6- सोशल मीडिया पर अच्छी-अच्छी बातें पोस्ट करें
7- अपने सबोर्डिनेट्स और अपने बच्चों की भरपूर प्रशंसा करें
हम इस प्रकार के अनेक छोटे-छोटे और अव्यवस्थित अच्छे कार्य जो की उदारता पूर्ण हों । इन कार्यों को करने से जहां हमें अनेक आत्माओं की दुआएं प्राप्त होगी वहां हमारे शरीर के अंदर हैप्पी हारमोंस का भी प्रोडक्शन बढ़ेगा और इस वजह से हम खुशी और उमंग उत्साह का अनुभव कर सकेंगे ।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वाइस प्रेसिडेंट लोइन समर्पण एवं नॉर्म कॉर्डिनेटर जे सी आई इंडिया बहन जानवी रोहिरा  जी ने कहा कि हमें अपने जीवन में अच्छे कार्य करने के लिए ब्रह्माकुमारीज के सानिध्य की अति आवश्यकता है । वर्तमान समय जहां चारों ओर नकारात्मकता का वायुमंडल है ऐसे समय पर ब्रह्मा कुमारीज द्वारा दी जा रही सकारात्मकता जीवन में अपना कर हम अनेक सेवा के कार्य बहुत अच्छे से कर सकते हैं ।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वरिष्ठ समाज सेविका  प्रांतीय महिला प्रमुख अखिल भारतीय ग्राहक पंचायत, जिला संगठक आयुक्त भारत स्काऊट गाइड्स बहन आशा सिंह जी ने कहा कि पिछले कई वर्षों से मैं प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्वविद्यालय से नियमित रूप जुड़ी हुई हूं । यह मेरा सौभाग्य है कि जहां मुझे समाज सेवा में अनेक प्रकार की सेवाएं करने का अवसर प्राप्त होता है, वहीं दूसरी ओर पिता परमात्मा की याद और छत्रछाया के आधार पर मैं ईश्वरीय कार्य में भी यथाशक्ति सहयोगी बनती हूं । जैसाकि आज के समय पर सभी लोग अपने अपने कार्यों में व्यस्त हैं ऐसे में समाज सेवा के लिए कुछ समय निकालना अति आवश्यक है ।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वीमेन एंटरप्रेन्योर्स बोर्ड मेम्बर ऑफ कोफेडेरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स और एडिटर लायन कल्ब बहन रीना गांधी जी ने कहा कि मैं संस्थान के करीबी होने के नाते अनेक ब्रह्मा कुमारी भाई बहनों से सकारात्मकता लेकर अपने जीवन में अपने कार्यों को सुचारु रुप से कर पाती हूँ । मुझे समाज सेवा करने की विशेष प्रेरणा यहां के भाई बहनों से प्राप्त होती है । तो हमें इस वर्ष विशेष लक्ष्य रखना है कि कुछ ना कुछ सेवा के कार्य अपने जीवन में समय प्रति समय करते रहना है ।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए वरिष्ठ समाज सेविका प्रान्त महामंत्री भारत तिब्बत सहयोग मंच तथा जिला कार्यकारिणी सदस्य अखिल भारतीय ग्राहक पंचायत ग्वालियर बहन नीलम गुप्ता जी  ने कहा कि मैं एक बार माउंट आबू गई थी और तब से मेरे जीवन में ऐसा सकारात्मक परिवर्तन आया है जिसको मैं वर्णन नहीं कर सकती । वहां दादी गुलजार जी से मिलने के पश्चात और उनकी वाणी सुनने के पश्चात मेरे जीवन में जमीन आसमान का अंतर आया है । जिस परिवर्तन का मैं बखूबी अनुभव कर सकती हूँ ।  यह विशेष कार्य हम सभी को करना है कि अनेक आत्माओं की पीड़ा को हरने के लिए अपने आप को आध्यात्मिक रूप से सशक्त बनाने का विशेष पुरुषार्थ करना है ।
अंत में कार्यक्रम को संबोधित करते हुए स्थानीय सेवा केंद्र प्रभारी बी के आदर्श दीदी जी ने कहा कि हमें अपने जीवन में खुशी उमंग उत्साह में रहकर और परमपिता परमात्मा की शक्तियों को जीवन में धारण कर के एक दूसरे का सहयोग करना है । एक दूसरे के साथ स्नेह प्यार से मिलकर, श्रेष्ठ व्यवहार करके हमें अनेक आत्माओं की दुआएं लेने का विशेष पुरुषार्थ करना है, जिससे पिता परमात्मा की दुआएं भी प्राप्त होती है । अंत में अपने पिता परमात्मा की शक्तियों को धारण करने के लिए राजयोग का गहन व्यवहारिक अभ्यास सभी भाई बहनों को कराया ।
विशेष कर्तव्यों की भूमिका को बताने के लिए बी के राजू भाई जी ने एक कविता के द्वारा अपनी भावनाएं व्यक्त   कीं । कार्यक्रम के अंत में पिता परमात्मा की याद के साथ बी के प्रहलाद भाई जी ने सभी भाई बहनों का धन्यवाद करते हुए कहा कि आज के दिवस पर हम सभी को यह लक्ष्य रखना है भले छोटे-मोटे ही सही लेकिन कुछ ना कुछ विशेष कर्तव्य अपने जीवन में अवश्य करने हैं ।

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म.प्र. के माननीय मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव जी ने ‘सामाजिक समरसता’ कार्यक्रम में ब्रह्माकुमारी बहनों को शॉल ओढ़ाकर किया सम्मानित

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Gwalior : म.प्र. के माननीय मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव जी, भारत सरकार के केंद्रीय संचार मंत्री माननीय श्री ज्योतिरादित्य सिंधिया जी, म.प्र. विधानसभा अध्यक्ष माननीय श्री नरेंद्र सिंह तोमर जी ने ग्वालियर के दत्तोपंत ठेंगड़ी सभागार, कृषि विश्वविद्यालय में आयोजित सामाजिक समरसता’ कार्यक्रम में ब्रह्माकुमारी बहनों को शॉल ओढ़ाकर सम्मानित किया। जिसमें ब्रह्माकुमारी रोशनी, ब्रह्माकुमारी सुरभि, बीके डॉ.गुरचरण सिंह को सम्मानित किया गया।

कार्यक्रम में प्रदेश के अनेकानेक कैबिनेट मंत्री गण, सांसद, विधायक सहित अन्य जनप्रतिनिधि तथा प्रशासनिक अधिकारी उपस्थित थे।

इस अवसर पर बीके रोशनी, बीके सुरभि, बीके डॉ.गुरचरण सिंह ने माननीय मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव जी का अभिनंदन करते हुए उन्हें ईश्वरीय सौगात भेंट की।

कार्यक्रम में शहर से अनेकानेक सम्माननीय धर्मगुरु, धार्मिक संस्थान, सामाजिक संस्थान से तथा गणमान्य नागरिक उपस्थित थे।

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बाल व्यक्तित्व विकास शिविर

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ब्रह्माकुमारीज केंद्र पर तीन दिवसीय बाल व्यक्तित्व विकास शिविर का हुआ शुभारंभ

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बच्चों में प्रेम, दया, क्षमा, आत्मविश्वास, सहनशीलता जैसे गुणों का विकास बहुत आवश्यक – आदर्श दीदी

जो बच्चे आज्ञाकारी होते है उन्हें सभी की दुवाएं एवं स्नेह मिलता है – प्रहलाद भाई

ग्वालियर। प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय की भगिनी संस्था राजयोग एजुकेशन एंड रिसर्च फाऊंडेशन के युवा प्रभाग और शिक्षा प्रभाग के द्वारा माधवगंज स्थित प्रभु उपहार भवन में तीन दिवसीय बाल व्यक्तित्व विकास शिविर का शुभारंभ हुआ।
इस शिविर में बच्चों के सम्पूर्ण विकास के लिए आध्यात्मिकता, नैतिक शिक्षा, व्यवहारिक ज्ञान और सकारात्मक सोच आदि विषयों को रचनात्मक ढंग से बताया जायेगा।
शिविर के शुभारंभ में मुख्य प्रशिक्षक के रूप में उपस्थित मोटिवेशनल स्पीकर एवं वरिष्ठ राजयोग ध्यान प्रशिक्षक बीके प्रहलाद भाई ने नए सभी बच्चों को मोटिवेट करते हुए मजेदार शिक्षाप्रद कहानियाँ सुनाकर शिविर की शुरुआत की। उन्होंने एक रचनात्मक एक्टिविटी के माध्यम से शिविर में उपस्थित बच्चों को सिखाया कि हमें ध्यान से सुनना चाहिए। क्योकि ध्यान से सुनने का बहुत महत्व है। जबकि सुनने से ज्यादा हम देखकर कर्म करते है, हम जैसा देखते है वैसा हम बनते चले जाते है। यदि हम कुछ गलत चीजों को देखते है या हमारे सामने कोई गलती कर रहा है तो उसका प्रभाव भी हमारे जीवन पर पड़ता है। इसलिए हमेशा टीवी या मोबाईल पर कुछ देखते है तो अच्छा ही देखे।
उन्होंने कहा कि अच्छे गुणों और संस्कारों का बीज बोने का यह सही समय है। इस समय अंदर लचीलापन होता है। सही शब्दों में कहा जाए तो व्यक्तित्व का निर्माण और जीवन को दिशा देने का काम इसी समयावधि में हो सकता है। हम जैसा बनना चाहें वैसा अपने को बना सकते हैं। आजकल कई बच्चे अपना कीमती समय मोबाइल पर नष्ट कर रहे हैं। अभिभावक और शिक्षक चाहकर भी कुछ नहीं कर पा रहे हैं। इस समय में मोबाईल का ज्यादा उपयोग करना हमारे लिए बहुत नुकशान दायक है । मोबाईल हमारी सुविधा के लिए है पढ़ाई आदि के लिए ही हम इसे थोडा बहुत उपयोग कर सकते है। बांकी और और चीजों में हमें नहीं जाना चाहिए।
उन्होंने आगे कहा कि सभी बच्चो को प्रातः सूर्योदय से पहले जाग जाना चाहिए तथा रात्रि को जल्दी सोना चाहिए। देर रात तक नहीं जागना चाहिए। सभी बच्चों को अपने माता पिता कहना मानना चाहिए। हरेक माता पिता अपने बच्चों की भलाई के लिए ही उन्हें समझाते है कभी भी माता पिता से नाराज नहीं होना चाहिए। जो बच्चे आज्ञाकारी होते है उन्हें सभी की दुवाएं एवं स्नेह मिलता है। और वह जीवन में आगे बढ़ते जाते है। इस पर एक रोचक कहानी भी बच्चों को सुनाई।
आगे भाई जी ने बच्चों को मन बुद्धि और संस्कार के बारे में बताया कि कैसे हम अच्छा सोचकर अपने अन्दर अच्छी आदतों को डाल सकते है। और अपनी ख़राब आदतों को छोड़ सकते है।


कार्यक्रम में बच्चो को मेडिटेशन (ध्यान) की सरल विधि सिखाई गई साथ ही ध्यान का अभ्यास भी कराया गया।
इस अवसर पर केंद्र प्रमुख बीके आदर्श दीदी ने बच्चों को संबोधित करते हुए कहा कि यदि हम थोडा समय पढ़ाई से पूर्व या कोई कार्य करने से पूर्व राजयोग ध्यान का अभ्यास करते है। अथवा परमात्मा को याद करते है तो हमें सफलता अवश्य मिलती है, साथ ही हमारी एकाग्रता भी बढती है। दीदी ने आगे कहा कि हमें इतना सुंदर जीवन मिला है तो उसके लिए हमें ईश्वर का शुक्रिया अदा करना चाहिए, साथ ही उन सभी का शुक्रिया करना चाहिए जो हमारे जीवन को अच्छा बनाने में हमारे मददगार है जैसे माता-पिता एवं गुरुजन आदि।
दीदी ने आगे बताया कि बच्चों में प्रेम, दया, क्षमा, आत्मविश्वास और सहनशीलता जैसे गुणों का विकास बहुत आवश्यक है। यह शिविर निश्चित ही बच्चों में दिव्य गुणों की धारणा और चारित्रिक विकास में मददगार साबित होगा। जो बच्चे बचपन से ही आध्यात्मिक शिक्षा और नैतिक शिक्षा और व्यवहारिक शिक्षा से जुड़ते है, तो वह न केवल बड़े होकर एक अच्छे नागरिक बनते है, बल्कि समाज और विश्व के लिए भी एक प्रेरणा और आदर्श बनकर उभरते है।
अंत में शिक्षाप्रद गेम भी खिलाये गए जिसका बच्चों ने आनंद लिया|
इस अवसर पर बीके जीतू, बीके सुरभि, बीके रोशनी, रीता मिड्ढा सहित अनेकानेक बच्चो के पैरेंट्स भी उपस्थित थे।

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